अनुक्रम
छ: वर्ष की आयु से लेकर बारह वर्ष की आयु तक की अवधि बाल्यावस्था
कहलाती है। बाल्यावस्था के प्रथम तीन वर्षो के दौरान अर्थात 6 से 9 वर्ष की
आयु तक शारीरिक विकास तीव्र गति से होता है। बाद में शारीरिक विकास की
गति कुछ धीमी हो जाती है। बाल्यावस्था में होने वाले शारीरिक विकास से सम्बन्धित कुछ महत्वपूर्ण परिवर्तन अग्रांकित है।
बाल्यावस्था के दौरान बालकों के भार में काफी वृद्धि होती है। 9-10 वर्ष की आयु तक बालकों का भार बालिकाओं के भार से अधिक होता है। बाल्यावस्था के विभिन्न वर्षों में बालक तथा बालिकाओं का औसत भार (किलोग्राम) निम्नलिखित तालिकाओं में दर्शाया गया है।
सिर तथा मस्तिष्क - बाल्यावस्था मे सिर के आकार मे क्रमश: परिवतर्न होता रहता है, परन्तु शरीर के अन्य अंगों की तुलना में यह भी अपेक्षाकृत बड़ा होता है। बाल्यावस्था में मस्तिष्क आकार तथा भार दोनों ही दृष्टि से लगभग पूर्णरूपेण विकसित हो जाता है।
बाल्यावस्था में शारीरिक विकास
लम्बाई व भार - 6 वर्ष से 12 वर्ष की आयु तक चलने वाली बाल्यावस्था में शरीर की लम्बाई लगभग 5 से.मी. से 7 सेमीण् प्रतिवर्ष की गति से बढ़ती है। बाल्यावस्था के प्रारम्भ में जहाँ बालकों की लम्बाई बालिकाओं की लम्बाई से लगभग एक से.मी अधिक होती है वहीं इस अवधि की समाप्ति पर बालिकाओं की औसत लम्बाई बालकों की औसत लम्बाई से लगभग 1 सेमीण् अधिक हो जाती है। लम्बाई में अन्तर निम्नलिखित तालिका द्वारा दर्शाया गया है।
बाल्यावस्था में बालक तथा बालिकाओं की औैसत लम्बाई (से.मी.)
आयु | 6 वर्ष | 7 वर्ष | 8 वर्ष | 9 वर्ष | 10 वर्ष | 11 वर्ष | 12 वर्ष |
बालक | 108-5 | 113-9 | 119-3 | 123-7 | 128-4 | 133-4 | 138-3 |
बालिका | 107-4 | 112-8 | 118-2 | 122-9 | 128-4 | 133-6 | 139-2 |
बाल्यावस्था के दौरान बालकों के भार में काफी वृद्धि होती है। 9-10 वर्ष की आयु तक बालकों का भार बालिकाओं के भार से अधिक होता है। बाल्यावस्था के विभिन्न वर्षों में बालक तथा बालिकाओं का औसत भार (किलोग्राम) निम्नलिखित तालिकाओं में दर्शाया गया है।
बाल्यावस्था मेंं बालक तथा बालिकाओंं का औसैसत भार (किग्रा0)
आयु | 6 वर्ष | 7 वर्ष | 8 माह | 9 वर्ष | 10 वर्ष | 11 वर्ष | 12 वर्ष |
बालक | 16-3 | 18-0 | 19-0 | 21-5 | 23-5 | 25-9 | 28-5 |
बालिका | 16-0 | 17-6 | 19-4 | 21-3 | 23-6 | 26-4 | 29-8 |
सिर तथा मस्तिष्क - बाल्यावस्था मे सिर के आकार मे क्रमश: परिवतर्न होता रहता है, परन्तु शरीर के अन्य अंगों की तुलना में यह भी अपेक्षाकृत बड़ा होता है। बाल्यावस्था में मस्तिष्क आकार तथा भार दोनों ही दृष्टि से लगभग पूर्णरूपेण विकसित हो जाता है।
दाँत - लगभग 5-6 वर्ष की आयु में स्थायी दाँत निकलने प्रारम्भ हो जाते है। 16 वर्ष की आयु तक लगभग सभी स्थायी दाँत निकल आते है। स्थायी दाँतों की संख्या लगभग 28-32 होती है।
हड्डियाँ- बाल्यावस्था मे हडिड्यो की सख्ंया तथा उनकी दढृत़ा दोनो में ही वृद्धि होती है। इस अवस्था में हड्डियों की संख्या 270 से बढ़कर लगभग 320 हो जाती है। इस अवस्था के दौरान हड्डियों का दृढीकरण अथवा अस्थिकरण तेजी से होता है।
माँसपेशियाँ - बाल्यावस्था मे माँसपेिशयो का धीरे- धीरे विकास होता जाता है। इस अवस्था में बालक माँसपेशियों पर पूर्ण नियंत्रण करने लगता है।
शरीर के आकार मे भिन्नता - बालक जसै - जसै बडा़ होता जाता है उसमें शारीरिक भिन्नता अधिक स्पष्ट होने लगती है। चेहरा, धड़, भुजाएं या टागें आदि में पहलेसे भिन्नता परिलक्षित होने लगती है।
आन्तरिक अवयव - शरीर के आन्तरिक अवयवों का विकास भी अनके रूपों में होता है यह विकास रक्त संचार, पाचन संस्थान तथा श्वसन प्रणाली में होता है
Sir please bataae ki iss age k bachho ki parvrish kaise kre... Jaldi se
ReplyDeleteBahut acha explain kiya hua ha sir
ReplyDeleteSir please table ko achhe se kr dijiye explain table nhi smjh pa rhi baki sb k liye thank you so much
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