सुधा अरोड़ा का जीवन परिचय, रचनाएँ, उपलब्धियाँ/पुरस्कार

सुधा अरोड़ा का जन्म लाहौर (पाकिस्तान) में हुआ। उच्च शिक्षा कलकत्ता विश्वविद्यालय से हुई। इसी विश्वविद्यालय के दो काॅलेजों में उन्होंने सन् 1969 से 1971 तक अध्यापन कार्य किया। कथा साहित्य में सुध अरोड़ा एक चर्चित नाम है।  उनके कई कहानी संग्रह प्रकाशित …

नमिता सिंह का जीवन परिचय, व्यक्तित्व, कृतित्व और उपलब्धियाँ

डॉ. नमिता सिंह का जन्म 4 अक्टूबर, 1944 को लखनऊ, उत्तर प्रदेश में हुआ। डॉ. नमिता सिंह का मूल नाम नमिता पंत है। उनका जन्म हिन्दी के महाकवि पं. सुमित्रनंदन पंत के परिवार में हुआ। डॉ. नमिता सिंह के पिता का नाम स्व. गिरीशचंद्र पंत और माता जी का नाम दयावती …

उषा प्रियंवदा का जीवन परिचय, प्रमुख रचनाएं, उपलब्धियाँ

उषा प्रियंवदा का जन्म 24 सितंबर 1930 को कानपुर, उत्तर प्रदेश में हुआ। उषा की माँ ने सुरुचि पूर्ण आपका नाम ‘उषा’ रखा था। आपने सदेव अपने नाम के पीछे सिर्फ का नाम ही अंकित किया। शादी के उपरांत भी आपने अपने नामक के पीछे से अपनी माँ प्रियंवदा का नाम न हटने…

नीरजा माधव का जीवन परिचय, प्रमुख रचनाएं, उपलब्धियाँ

नीरजा माधव का जीवन परिचय नीरजा माधव का जन्म 15 मार्च 1962 में ग्राम- कोतवालपुर (सरेमू), पोस्ट- मुफ्तीगंज, जिला- जौनपुर, उत्तर प्रदेश में एक शिक्षक पिता के घर में हुआ। नीरजा माधव के पिता का नाम श्री मथुरा प्रसाद और माताजी का नाम श्रीमती विमला देवी है। …

कृष्णा सोबती का जीवन परिचय, प्रमुख रचनाएँ, उपलब्धियाँ

कृष्णा सोबती वर्तमान युग के हिंदी गद्य रचनाकारों में कृष्णा सोबती का नाम विशेष आदर के साथ लिया जाता है | उन्होंने अपनी बहुआयामी रचनाओं से हिंदी साहित्य को समृद्ध किया है | इनके उपन्यासों, कहानियों, संस्मरणों और निबंध-साहित्य में वस्तुगत वैविध्य, वैचार…

ममता कालिया का जीवन परिचय और रचनाएँ

ममता कालिया का जीवन परिचय हिन्दी साहित्य जगत की विख्यात कथाकार ममता कालिया का जन्म 2 नवम्बर 1940 में मथुरा, वृंदावन (उत्तरप्रदेश) के केनेडियन मिशन अस्पताल में हुआ। ममता कालिया की माताजी का नाम इन्दुमती तथा पिता का नाम श्री विद्याभूषण अग्रवाल।  ममता जी…

मृदुला गर्ग का जीवन परिचय एवं रचनाएं - Biography and works of Mridula Garg

मृदुला गर्ग (Mridula Garg) हिन्दी की ऐसी वरिष्ठ कथाकार हैं जिन्होंने स्त्री-विमर्श को एक सकारात्मक मोड़ दिया है। उनका लेखन चुनौतीपूर्ण है । साहित्य की सभी विधाओं की रचनाओं के निर्माण में पुरुषों के साथ-साथ महिलाओं ने भी जमकर हिस्सा लिया है- नारी, नारी…

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